कल 4.7 .2023 दिन सोमवार प्रथम महा आरती के अंतर्गत बाबा त्रिवती नाथ पर सभी फिर सैनिकों ने रुद्राभिषेक कर 151 दीपों के साथ महा आरती का आयोजन किया गया


नगरी बरेली के द्वारा श्रवण मास 
के पावननाथ पर्व पर सप्त नाथ महा आरती का आयोजन 
में कल 4.7 .2023 दिन सोमवार प्रथम महा आरती के अंतर्गत बाबा त्रिवती नाथ पर सभी फिर सैनिकों ने रुद्राभिषेक कर 151 दीपों के साथ महा आरती का आयोजन किया गया
इस मौके पर मुख्य अतिथि के बतौर
श्री श्री 1008 स्वामी शैलेंद्र आनंद महाराज
पूर्व जिला प्रमुख परम आदरणीय बड़े भाई 
साहब संतोष उपाध्याय जी उपस्थित रहे साथ ही
महानगर प्रमुख ठाकुर धनपाल जी बताया श्रवण मास के पावन अवसर पर रुद्राभिषेक करने से सभी कष्टों से मुक्ति मिलती है परिवार में सुख समृद्धि की वृद्धि होती है इससे सभी शिवसैनिकों ने हर हर महादेव जय घोष के साथ रुद्राभिषेक व महा आरती का आयोजन किया गया वहीं शिवसेना के जिला प्रमुख दीपक पाठक ने बताया के श्रवण मास में भगवान महादेव की आराधना प्रत्येक सनातनी को करनी चाहिए जिससे हमारा यह लोक भी सुखी और परलोक भी सुखी होता है
संगठन मंत्री डॉ मनीष जी
भवानी सेना 
जिला प्रभारी सुधा जी
महानगर अध्यक्ष बिंदु जी
महानगर प्रभारी जोत कौर जी
जिला उपाध्यक्ष शिवाली श्रीवास्तव जी
जिला उपाध्यक्ष रितिका सक्सेना जी
 युवा जिला प्रमुख रविंद्र यादव जी
जिला उपाध्यक्ष वंश उपाध्याय जी
जिला सचिव नवीन जी
जिला महासचिव संतोष जी
 जिला सचिव सोनू जी जिला महामंत्री आशीष जी
 जिला महासचिव संजू जी
 जिला उपाध्यक्ष डॉ प्रदीप जी
 महानगर सचिव राकेश जी
 महानगर वरिष्ठ उपाध्यक्ष विजय जी
 जिला महामंत्री विश्व प्रताप जी
 मीडिया प्रभारी प्रदीप  जी
सह मीडिया प्रभारी अभिनय जी
 महानगर सचिव रितिक जी
 महानगर संयोजक शिवम जी
 महानगर कार्यकारिणी सदस्य जी
 अन्य सैकड़ों शिवसैनिक आम जनमानस उपस्थित रहे

नवीनतम न्यूज़ अपडेट्स के लिए Facebook, Instagram Twitter पर हमें फॉलो करें और लेटेस्ट वीडियोज के लिए हमारे YouTube चैनल को भी सब्सक्राइब करें।

Related Tags:

 

Leave a Comment:

महत्वपूर्ण सूचना -

भारत सरकार की नई आईटी पॉलिसी के तहत किसी भी विषय/ व्यक्ति विशेष, समुदाय, धर्म तथा देश के विरुद्ध आपत्तिजनक टिप्पणी दंडनीय अपराध है। इस प्रकार की टिप्पणी पर कानूनी कार्रवाई (सजा या अर्थदंड अथवा दोनों) का प्रावधान है। अत: इस फोरम में भेजे गए किसी भी टिप्पणी की जिम्मेदारी पूर्णत: लेखक की होगी।