सरसों के तेल, रिफाइंड और पाम ऑयल की कीमतें हाल के दिनों में सबसे ज्यादा ऊपर चढ़ी हैं, अब इन्हीं खाद्य तेलों में मिलावट के भी सबसे ज्यादा मामले पकड़े गए हैं
(सुनील कुमार दिवाकर)
बरेली।सरसों के तेल, रिफाइंड और पाम ऑयल की कीमतें हाल के दिनों में सबसे ज्यादा ऊपर चढ़ी हैं, अब इन्हीं खाद्य तेलों में मिलावट के भी सबसे ज्यादा मामले पकड़े गए हैं। मिलावट कितने बड़े पैमाने पर की जा रही है, इसका अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि दिसंबर में कुल 112 नमूनों की रिपोर्ट आई है जिनमें से 64 फेल और 20 को असुरक्षित बताया गया है। सरसों के तेल के कई नमूनों में रंग की मिलावट पाई गई है जिसका मतलब है कि पाम ऑयल से नकली सरसों तेल बनाकर बेचने का खेल भी बड़े पैमाने पर चल रहा है।खाद्य तेलों के नमूनों की रिपोर्ट साफ इशारा कर रही है कि जिले में मुनाफाखोरों ने महंगाई से बेहाल लोगों के लिए मिलावट का जाल बिछा दिया है। पाम ऑयल और रिफाइंड के कई नमूनों की रेंसिडिटी पर ऑक्साइड है, यानी बदबूदार होने के साथ उसे सेहत के लिए काफी हानिकारक भी पाया गया है। बेहद चिंताजनक यह है कि खाद्य तेलों में मिलावट के मामले पिछले कई महीनों से सामने आ रहे हैं और लगातार उनकी संख्या भी बढ़ती जा रही है। इसके बावजूद प्रशासन की ओर से मिलावटखोरी रोकने के लिए कोई सख्त कदम नहीं उठाया गया है।
चिली सॉस में भी रंग, कुलचे किस तेल बना रहे, पता ही नहीं चला
खाद्य सुरक्षा सहायक आयुक्त द्वितीय अपूर्व श्रीवास्तव के अनुसार सरसों के तेल के साथ चिली सॉस में भी रंग की मिलावट पाई गई है जो सेहत के लिए हानिकारक होने के बावजूद काफी इस्तेमाल किया जा रहा है। बाजार में कुलचे बनाने के लिए किस तरह का तेल इस्तेमाल हो रहा है, इसका पता ही नहीं लग पाया।हर महीने 50 फीसदी से ज्यादा नमूने फेल और असुरक्षित दिसंबर में 112 नमूनों की रिपोर्ट आई है जिनमें सिर्फ 48 पास हुए, 64 फेल हो गए। इनमें 20 नमूने असुरक्षित भी पाए गए। रिपोर्ट में दो नमूने मिस ब्रांड, 38 अधोमानक पाए गए। चार नमूनों में बाह्य पदार्थों की मिलावट पाई गई।नवंबर में एफएसडीए की ओर से भरे गए 73 नमूनों की रिपोर्ट आई थी जिनमें 43 पास हुए और 30 नमूने फेल हो गए। इनमें भी छह नमूनेअसुरक्षित, 16 अधोमानक और सात मिथ्याछाप पाए गए।अक्टूबर में 42 नमूनों की रिपोर्ट आई थी, जिनमें 21 फेल थे। इसके अलावा पांच असुरक्षित और 12 अधोमानक पाए गए। चार नमूनों में बाहरी पदार्थों की मिलावट पाई गई थी।सितंबर में 138 रिपोर्ट आई थीं, जिनमें 79 नमूने फेल पाए गए थे। इनमें 17 नमूने असुरक्षित, 55 अधोमानक, पांच मिथ्याछाप थे। दो में बाहरी पदार्थों की मिलावट पाई गई थी।अगस्त में 87 नमूनों की रिपोर्ट आई थी जिनमें से 37 को फेल बताया गया था। इसके अलावा छह असुरक्षित श्रेणी और 30अधोमानक निकले। एक नमूने में बाहरी पदार्थ की मिलावट पाई गई। पूरे जिले में मिलावटखोरों का जाल सेटेलाइट बस स्टैंड के फूड प्लाजा से लिया पेड़ा मिलावटी पाया गया। मेहतरपुर में साजिद किराना स्टोर से लिया सरसों का तेल असुरक्षित, भुता के इसरार किराना स्टोर की चिली सॉस असुरक्षित, देवचरा के तलगढ़ी हनुमान मंदिर के पास राधा रानी ट्रेडर्स का सरसों का तेल असुरक्षित, फतेहगंज पूर्वी में 15 किलो के रिफाइंड राइस ब्रान ऑयल असुरक्षित पाया गया। तलगढ़ी हनुमान मंदिर से मुनेश सक्सेना का सरसों का तेल अधोमानक, नरियावल में ठिरिया के कौसर खान की दुकान का पेठे का नमूना मिथ्याछाप, आंवला के राफियाबाद और बिशारतगंज के रमेश बाबू के यहां से लिया गया पाम ऑयल का नमूना अधोमानक पाया गया। कोहाड़ापीर चाहबाई के दीपक के यहां से लिया गया मूंगफली दाना भी अधोमानक निकला। नवाबगंज हरीश किराना स्टोर से लिया सरसों का तेल अधोमानक, संजयनगर में राकेश के स्टोर से लिया गया कुल्चा का नमूना मिथ्याछाप पाया गया है। फैजनगर भुता के गंगवार किराना स्टोर से भी लिया गया पाम ऑयल का नमूना असुरक्षित पाया गया है। कुट्टू के आटे में ऑफसीजन होने के बावजूद मिलावट पाई गई। केसरपुर के सुलेमान किराना स्टोर और रविंद्र प्रोविजन स्टोर से लिया गया कुट्टू के आटे का नमूना अधोमानक पाया गया है।
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